चारधाम यात्रा रजिस्ट्रेशन बंद होने से भड़के तीर्थयात्री जमीन पर बैठकर किया प्रदर्शन

(उत्तराखंड)

ऋषिकेश, (कुमार रजनीश)/

चारों धामों में अत्यधिक भीड़ के चलते यात्रा रजिस्ट्रेशन बंद किए जाने से गुस्साए यात्रियों ने ऋषिकेश स्थित यात्रा ट्रांजिट कैंप में रजिस्ट्रेशन व्यवस्थाओं पर सवाल उठाते हुए राज्य सरकार की खिलाफ जमकर नारेबाजी कर जमीन पर बैठ कर प्रदर्शन किया।

सोमवार को भी यात्रा रजिस्ट्रेशन न खोले जाने से अक्रोशित तीर्थयात्रियों ने यात्रा व्यवस्थाओं पर सवाल उठाते हुए मुख्यमंत्री और राज्य सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी करते हुए यात्रा रजिस्ट्रेशन परिसर गेट के सामने जमीन पर बैठ कर प्रदर्शन किया। इस दौरान पुलिस कर्मी यात्रियों को समझाते दिखे लेकिन मौके पर कोई भी जिम्मेदार अधिकारी नजर नहीं आया। जिससे यात्रियों का गुस्सा और बढ़ गया। जिन्होने सरकार की व्यवस्थाओं को नाकाफी बताते हुए कहा कि जब उत्तराखंड की चारधाम यात्रा व्यवस्था सही नहीं चलाई जा रही है तो सभी राज्यों को स्पष्ट बता दिया जाए की उत्तराखंड में तीर्थयात्री न आएं। जिससे यात्रियों को अनावश्यक रूप से परेशानियों को न झेलना पड़े।

विगत रोज से चार धाम यात्रा का रजिस्ट्रेशन बंद किए जाने से यात्रियों गुस्सा सोमवार सुबह फूट पड़ा। इस दौरान यात्रियों और पुलिस के बीच कई बार बहस भी हुई लेकिन मौके पर कोई भी जिम्मेदार अधिकारी नजर नहीं आया। जिससे तीर्थयात्रियों का सब्र का बांध टूट गया। यात्रियों ने यात्रा ट्रांजिट कैंप में सरकार की व्यवस्थाओं पर सवाल खड़े करते हुए मुख्यमंत्री और राज्य सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी करते हुए यात्रा रजिस्ट्रेशन परिसर के गेट के सामने जमीन पर बैठ कर जमकर प्रदर्शन किया। यात्रियों का हंगामा देख मौके पर पुलिस बल ने यात्रियों को समझाने का प्रयास किया लेकिन यात्री चारधाम की यात्रा पर जाने के लिए छोड़े जाने की बात पर अड़े रहे।

वहीं बाहरी राज्यों से यात्रियों को चारधाम की यात्रा पर लेकर आए यात्रा एजेंटों ने भी सरकार की यात्रा व्यवस्था पर सवाल उठाए और कहा कि वह यात्रियों को लेकर तय समय सीमा की यात्रा पर निकले हैं ऐसे में उन्हें ऋषिकेश में रजिस्ट्रेशन के नाम पर कई दिनों से रोक दिया गया है। जिससे एजेंटों को जहां आर्थिक नुकसान झेलना पड़ रहा है वहीं यात्रियों को तय अनुबंध के आधार पर दिए जाने वाले भोजन को कई दिनों से कराए जाने से उनके सामने दिक्कतें पैदा होनी शुरू हो गई है।

वही यात्रा रजिस्ट्रेशन के लिए फार्म और जरूरी कागजात जमा कराने की बाध्यता के चलते यात्रियों से कागज मांगे गए लेकिन वह कागज भी अव्यवस्था के चलते कूड़े की तरह पड़े दिखे। और यात्री अपने कागजों को ढूंढते दिखे तथा प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाया।

यात्रियों के बढ़ते गुस्से के बाद उपजिलाधिकारी ऋषिकेश कुमकुम जोशी ने मोर्चा संभालते हुए यात्रियों को समझाने का काम किया। जिसके बाद कुछ हद तक यात्री शांत हुए।

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